ग्वालियर जिले में समर्थन मूल्य पर 35 हजार मैट्रिक टन गेहूं का उर्पाजन
ग्वालियर 14 मई 08 । ग्वालियर जिले में शासन द्वारा घोषित समर्थन मूल्य पर लक्ष्य से अधिक गेहूं का उपार्जन कर लिया गया है । जहां जिले में इस वर्ष 10 हजार मैट्रिक टन गेहूं उपार्जन का लक्ष्य निर्धारित था । जिसके विपरीत अभी तक 42 उपार्जन केन्द्रों के माध्यम से 35 हजार मैट्रिक टन गेहूं का उपार्जन किया जा चुका है । उपार्जन केन्द्रों के माध्यम से जिले में समर्थन मूल्य पर गेहूं बेचने पर अभी तक किसानों को 40 करोड़ की राशि का भुगतान किया जा चुका है । गेहूं उपार्जन का कार्य अभी जारी है।
जिला आपूर्ति नियंत्रक श्रीमती ज्योति (शाह) नरवारिया ने बताया कि जिले में शासन द्वारा घोषित समर्थन मूल्य पर अभी तक 35 हजार मैट्रिक टन गेहूं की खरीदी की जा चुकी है । जिसमें नागरिक आपूर्ति निगम द्वारा 15 हजार 500, भारतीय खाद्य निगम द्वारा 12 हजार, राज्य विपणन संघ द्वारा 5 हजार 600, नाफेड द्वारा 1913 मैट्रिक टन तथा कर्मिशियल एजेण्टों द्वारा 2 हजार मैट्रिक टन गेहूं का उपार्जन शामिल है । गेहूं खरीदी हेतु जिले में एक लाख 13 हजार वारदाने की व्यवस्था की गई है ।
नागरिक आपूर्ति निगम द्वारा प्रति क्विंटल 10 रूपये अतिरिक्त बोनस
शासन द्वारा घोषित समर्थन मूल्य पर किसानों को नागरिक आपूर्ति निगम (डबरा) के उपार्जन केन्द्र पर 1100 रूपये प्रति क्विंटल समर्थन मूल्य के अतिरिक्त 10 रूपये बोनस और दिया जा रहा है । कार्मिशियल एजेन्टों के माध्यम से राज्य शासन की एजेन्सियों को समर्थन मूल्य पर गेहूं उपार्जन करने पर एक हजार रूपये समर्थन मूल्य का 0.25 प्रतिशत बोनस के रूप में दिया जा रहा है । गौरतलब है कि शासन ने इस वर्ष समर्थन मूल्य पर गेहूं खरीदी हेतु एक हजार रूपये प्रति क्विंटल का मूल्य निर्धारित किया है । राज्य सरकार द्वारा किसानों को प्रति क्विंटल 100 रूपये बोनस दिया जा रहा है ।
समस्याओं के निराकरण हेतु कन्ट्रोल रूम गठित
समर्थन मूल्य पर गेहूं उपार्जन के कार्य में आने वाली समस्याओं के त्वरित निराकरण के लिये जिला आपूर्ति नियंत्रक कार्यालय ग्वालियर में कन्ट्रोल रूम गठित किया गया है । कन्ट्रोल रूम का दूरभाष क्रमांक 2446260 है । इस नंबर पर समस्या दर्ज कराई जा सकती है । कन्ट्रोल रूम सुबह 8 बजे से रात्रि 8 बजे तक खुला रहेगा । जिस पर दो कर्मचारियों को तैनात किया गया है । यह कर्मचारी गेहूं उपार्जन से संबंधित प्राप्त किसी भी प्रकार की शिकायत को पंजी में दर्ज कर जिला आपूर्ति नियंत्रक को अवगत करायेंगे । जिससे समस्या का त्वरित निराकरण किया जा सके ।
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