शुक्रवार, 30 मई 2008

हरियाली महोत्सव के लिये वनदूत नियुक्त होंगे

हरियाली महोत्सव के लिये वनदूत नियुक्त होंगे

ग्वालियर 29 मई 08 । प्रदेश सरकार की महत्वाकांक्षी हरियाली महोत्सव योजना के सफल क्रियान्वयन के लिये वन विभाग द्वारा महत्वपूर्ण कदम उठाये गये हैं । इसी कड़ी में मुख्यालय स्तर पर हरियाली महोत्सव के सफल क्रियान्वयन के लिये वनदूत नियुक्त करने का निर्णय लिया गया है ।  ग्वालियर में दस-दस वनदूत रखे जायेंगे । वन संरक्षक अनुसंधान एवं विस्तार वृत द्वारा वनदूतों का पंजीकरण कर उन्हें प्रमाण पत्र दिये जायेंगे ।

अनुसंधान एवं विस्तार वृत ग्वालियर के वन संरक्षक ने बताया कि वनदूत एक प्रकार से कमीशन एजेन्ट की तरह कार्य करेंगे और वे स्थानीय व्यक्ति ही होंगे । वनदूत को पौधो के विक्रय मूल्य का दस प्रतिशत अथवा 50 पैसा प्रति पौधा कमीशन दिया जायेगा । इनमें से जो राशि न्यूनतम होगी वह कमीशन के रूप में वनदूत को दी जायेगी । वनदूत के पास न्यूनतम पौधों की संख्या 5000 होगी तथा देखरेख एवं सुरक्षा व्यवस्था उसी की रहेगी । वनदूत ग्रामीण क्षेत्रों में पौधों का परिवहन करायेंगे । पौधों की विक्रय राशि से ही उनके कमीशन का भुगतान किया जायेगा । पौधों की विकय अवधि जून से अक्टूबर माह तक रहेगी । वनदूत अपने प्रयासों से पौधों की अग्रिम बुकिंग करा सकेंगें, इसके लिये उन्हें वन विभाग से पौधों की मांग लिखित में करनी होगी । अनुसंधान एवं विस्तार वृत द्वारा इनको मनी रसीद छपवाकर दी जायेगी। जिससे ये अपने क्षेत्र में निर्धारित दर पर पौधे विक्रय कर सकेंगे । सहायक वन संरक्षक अनुसंधान एवं विस्तार अपने हस्ताक्षर से इसे प्रमाणित करेंगे तथा इसका लेखा लायसेंस रजिस्टर में रखा जायेगा । वनदूत द्वारा विक्रय की राशि 15 दिवस में संबंधित क्षेत्र के वन रक्षक या वनपाल को देना होगी, 30 दिन के पश्चात राशि वन विभाग को न देने पर वनदूत को 2 प्रतिशत का ब्याज अदा करना होगा । संबंधित वन रक्षक अपने क्षेत्र के वनदूत की जानकारी रखेंगे तथा इसकी नियुक्ति से संबंधित कार्यवाही वन क्षेत्रपाल स्वत: करेंगे और इसका अनुमोदन वन संरक्षक, अनुसंधान एवं विस्तार वृत ग्वालियर से प्राप्त करेंगे ।

 

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