बुधवार, 29 अप्रैल 2009

आपसी समन्वय से हर मतदान केन्द्र पर नजर रखें , सेक्टर मजिस्ट्रेट एवं पुलिस अधिकारियों की संयुक्त बैठक में जिला निर्वाचन अधिकारी के निर्देश

आपसी समन्वय से हर मतदान केन्द्र पर नजर रखें , सेक्टर मजिस्ट्रेट एवं पुलिस अधिकारियों की संयुक्त बैठक में जिला निर्वाचन अधिकारी के निर्देश

ग्वालियर 28 अप्रैल 09। सेक्टर मजिस्ट्रेट एवं पुलिस अधिकारी आपसी समन्वय स्थापित कर 30 अप्रैल को मतदान केन्द्रों पर पहुंचें जिससे सभी मतदान केन्द्रों पर स्वतंत्र, निष्पक्ष एवं  सुचारू ढंग से मतदान सम्पन्न हो सके। साथ ही यदि कहीं पर मतदान शुरू होने में कोई बाधा हो तो उसे तत्काल दूर किया जा सके। यह निर्देश निर्वाचन प्रेक्षक श्री जी आर. अलोरिया, श्री हृदेश मोहन व श्री ललित प्रसाद की मौजूदगी में आयोजित हुई सेक्टर मजिस्ट्रेट एवं पुलिस अधिकारियों की संयुक्त बैठक में कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री आकाश त्रिपाठी ने दिये। उन्होंने कहा कि मतदान शुरू होने की सूचना के साथ मोकपोल की सूचना भी अवश्य दें। श्री त्रिपाठी ने कहा मतदान दिवस को प्रात: 6.30 बजे हर मतदान केन्द्र पर मॉकपोल आयोजित किया जाना है और इसकी सूचना प्रात: सवा सात बजे तक जिला निर्वाचन कार्यालय में पहुँच जानी चाहिये। श्री त्रिपाठी ने इस आशय की सूचना तत्काल  पहुंचाने के लिये कम्युनिकेशन प्लान का उपयोग करने की हिदायत दी। यहाँ राज्य स्वास्थ्य प्रबंधन एवं सचार संस्थान में आयोजित हुई इस बैठक में पुलिस अधीक्षक श्री व्ही के. सूर्यवंशी, अपर जिला दण्डाधिकारी श्री आर के. जैन, अपर कलेक्टर श्री विनोद शर्मा व श्री वेदप्रकाश, अतिरक्ति पुलिस अधीक्षक श्री अनिल कुशवाह, श्री मनोहर वर्मा व श्री बी एस. चौहान तथा सभी सहायक रिटर्निंग अधिकारी व सेक्टर मजिस्ट्रेट तथा जिले के समस्त पुलिस अधिकारी मौजूद थे। 

       कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री त्रिपाठी ने कहा कि मतदान के दिन शुरूआती घण्टे में विशेष सतर्कता बरतने की जरूरत है। यदि किसी केन्द्र पर ई व्ही एम. सम्बन्धी कोई समस्या हो तो उसकी सूचना तुरन्त दी जाये। यह समस्या दूर करने के लिये ई व्ही एम. विशेषज्ञ मास्टर ट्रेनर्स के दल विशेष वाहनों द्वारा तत्काल पहुंचा दिये जायेंगे।       सेक्टर मजिस्ट्रेट एवं पुलिस अधिकारियों को बताया गया कि मतदान केन्द्र के 100 मीटर के दायरे में निर्वाचन से जुड़े अधिकारियों को छोड़कर मोबाइल फोन पूर्णत: प्रतिबंधित हैं। अत: भ्रमण के समय मोबाइल चैक करें और यह भी सुनिश्चित करें कि मतदान केन्द्र के भीतर पोलिंग एजेण्ट के पास मोबाइल नहीं रहे।

मतदान के दिन वाहनों पर रखें कड़ी नजर

       कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारी श्री त्रिपाठी ने कहा कि निर्वाचन आयोग के दिशा निर्देशानुसार मंगलवार को सांयकाल पाँच बजे से चुनावी शोरगुल पर विराम लग गया है। इसके साथ ही चुनावी प्रचार के लिये जिन वाहनों को अनमति दी गई थी वह स्वत: ही समाप्त हो गई है। अत: वाहनों के आवागमन पर कड़ी नजर रखी जाये। उन्होंने कहा मतदान दिवस के लिये हर प्रत्याशी को सम्पूर्ण जिले के लिये केवल आठ वाहनों की अनुमति दी जायेगी, जिनमें प्रत्याशी व उसके इलेक्शन एजेण्ट के वाहन भी शामिल हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि प्रत्याशी व उसके इलेक्शन ऐजेण्ट के वाहन सम्पूर्ण संसदीय क्षेत्र में जा सकेंगे किन्तु अन्य वाहन संबंधित विधानसभा क्षेत्र में ही जा सकेंगे। अनुमति पत्र विधानसभावार पृथक-पृथक रंग के होंगे और इन्हें वाहन के सामने की ओर के कांच पर मूल रूप में चस्पा करना अनिवार्य है। यह खासतौर पर देखा जाये कि इन वाहनों का उपयोग मतदाताओं के ढोने में न हो। अनुमति प्राप्त वाहनों में वाहन चालक सहित कुल पाँच लोगों के बैठने की अनुमति है। अन्य वाहन स्वामी अपने परिवार एवं बीमार व्यक्तियों आदि को वाहन से ले जा सकते हैं। लेकिन इस बात का खास ध्यान रखा जाये कि मतदाताओं को ढोने में वाहनों का उपयोग किसी भी हालत में न हो।

 

निर्वाचन बूथ नियमानुसार ही बनें

कलेक्टर एवं निर्वाचन अधिकारी ने बताया कि मतदाताओं को पर्ची प्रदान करने के लिये बूथ मतदान केन्द्र से दो सौ मीटर की  परिधि के बाहर ही बनाये जा सकेंगे। इन बूथों पर एक टेवल व दो कुर्सी ही लगाई जा सकेंगी और टेण्ट आदि लगाने की कदापि अनुमति नहीं होगी। छाया के लिये निर्धारित मापदण्ड के अनुसार छातानुमा व्यवस्था की जा सकती है। बूथ पर 3


1.5 का बैनर लगाने की ही अनुमति रहेगी। बूथ बनाने के लिये संबंधित प्रत्याशी / दल को स्थानीय निकाय से अनुमति भी लेनी होगी।

 

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