मंगलवार, 16 जून 2009

शहर की सफाई व्यवस्था सुदृढ़ बनाने हेतु निगमायुक्त ने क्षेत्राधिकारियों की बैठक ली

शहर की सफाई व्यवस्था सुदृढ़ बनाने हेतु निगमायुक्त ने क्षेत्राधिकारियों की बैठक ली

ग्वालियर दिनांक 15.06.2009- निगमायुक्त डॉ. पवन कुमार शर्मा ने सी.डी.सी. कम्पनी के काम छोड़कर चले जाने के बाद उत्पन्न स्थिति से निबटने के लिये आज नगर निगम के क्षेत्राधिकारियों, कार्यशाला के अधिकारियों तथा स्वास्थ्य अधिकारियों की बैठक ली। बैठक में निगमायुक्त द्वारा निर्देश दिये गये कि कार्यशाला विभाग कचरे के परिवहन का कार्य पूरी तरह से अपने हाथ में ले तथा इसके लिये रूट चार्ट तैयार कर शहर में एकत्रित होने वाले कचरे को लेण्डफिल साईट भिजवाने की व्यवस्था करें। इसके अतिरिक्त जिन-जिन क्षेत्रीय कार्यालयों पर अतिरिक्त स्टाफ की आवश्यकता हो उन अतिरिक्त स्टाफ में सी.डी.सी. के पूर्व से कार्य कर रहे कर्मचारियों को कलेक्टर दर पर रखा जावे।

       शासन के निर्देश क्रम में जिन क्षेत्रों में रात्रिकालीन सफाई व्यवस्था प्रांरभ की जानी है वहां 80 लोगों की आवश्यकता है। निगम के दोनों सहायक स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देशित किया गया कि वे आवश्यकतानुसार सी.डी.सी. के स्टाफ में से कर्मचारी लेकर रात्रिकालीन सफाई व्यवस्था करायें।

       विभिन्न क्षेत्राधिकारियों को निगमायुक्त द्वारा मांग अनुसार लगभग 60 अतिरिक्त कर्मचारी उपलब्ध करा दिये गये हैं। उन्होंने क्षेत्राधिकारियों को निर्देशित किया कि समस्त सफाई व्यवस्था पर दोनों सहायक स्वास्थ्याधिकारियों का पूर्ण नियंत्रण होगा यदि किसी सहायक स्वास्थ्याधिकारी द्वारा किसी क्षेत्राधिकारी की शिकायत की गई तो उस पर ट्रांसफर व निलंबन जैसी कार्यवाहियां सम्पादित की जायेगी।

       निगमायुक्त द्वारा कार्यशाला के कार्यपालनयंत्री श्रीकांत कांटे को निर्देशित किया गया कि कार्यशाला में उपलब्ध तथा सी.डी.सी. द्वारा प्रयोग किये जा रहे निगम के कंटेनरों की युध्दस्तर पर मरम्मत कराकर खुले कचरेठियों को समाप्त करने हेतु स्थान-स्थान पर कंटेनरों की संख्या बढ़ाई जाये तथा उपलब्ध टे्रक्टरों में से मांग अनुसार प्रत्येक क्षेत्रीय कार्यालय पर अनिवार्य रूप से खुले कचरेठियों से कचरा उठाने हेतु टे्रक्टर भेजना सुनिश्चित करें उन्होंने निर्देशित किया कि श्री दिग्विजय सिंह जादौन प्रतिदिन कार्यशाला वाहनों की निकासी तथा वापसी सुनिश्चित करेंगे तथा श्रीकांत कांटे टे्रक्टर इत्यादि की मरम्मत की कार्यवाही पर तेजी लावेंगे। साथ ही उनके द्वारा यह भी निर्देशित किया गया कि सी.डी.सी. कम्पनी द्वारा निगम को कितना नुक्सान पहुंचाया गया है इसका भी आंकलन किया जावेगा ताकि अनुबंध के मुताबिक सी.डी.सी. की जमा धरोहर राशि इत्यादि से राशि काटकर सी.डी.सी. कर्मचारियों का वेतन का भुगतान किया जा सके। 

 

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