पीड़ित सदस्यों को तत्परता से राहत दिलायें - श्री सिंह
अत्याचार निवारण अधिनियम की मॉनीटरिंग समिति की बैठक में आयुक्त के निर्देश
ग्वालियर 27 मार्च 10 । संभाग आयुक्त श्री एस बी सिंह ने कहा है कि अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति के सदस्यों के उत्पीड़न के मामलों में राहत वितरण में विलंब न हो, विभागीय अधिकारी इस बात का विशेष ध्यान रखें । संभागायुक्त ने यह निर्देश संभागस्तरीय अनुसूचित जाति, जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम की मॉनीटरिंग समिति की त्रैमासिक बैठक में दिये । यहां मोतीमहल में आयोजित हुई इस बैठक में पुलिस महानिरीक्षक ग्वालियर श्री अरविंद कुमार व चंबल श्री एस के झा, कलेक्टर ग्वालियर श्री आकाश त्रिपाठी, गुना श्री मुकेश गुप्ता, शिवपुरी श्री राजकुमार पाठक, दतिया श्री एम बी ओझा, व अशोकनगर श्रीमती गीता मिश्रा, संभाग के सभी जिलों के पुलिस अधीक्षक एवं उप आयुक्त आदिवासी विकास श्री त्रिपाठी सहित अन्य संबंधित अधिकारी मौजूद थे ।
संभागायुक्त डा एस बी सिंह ने कहा कि पुलिस थाने में उत्पीड़न का प्रकरण दर्ज होने पर प्रावधान अनुसार 50 प्रतिशत राशि अनुसूचित जाति, जनजाति के पीड़ित सदस्य को मुहैया करा दी जाये । उन्होंने आदिम जाति कल्याण विभाग के जिला संयोजकों को अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत पीड़ित परिवारों को तत्परता से सहायता मुहैया कराने की हिदायत दी । श्री सिंह ने हत्या के प्रकरणों में अनुकंपा नियुक्ति, परिलक्षित क्षेत्रों में विकास एवं जनजागृति शिविरों का आयोजन तथा राहत प्रकरणों की स्वीकृति एवं वितरण की स्थिति की जिलेवार समीक्षा की ।
पुलिस महानिरीक्षक श्री अरविंद कुमार ने राहत राशि लेने के बावजूद भी न्यायालय में अपने बयान से पलटने की प्रवृति रोकने पर जोर दिया । उन्होंने कहा कि ऐसे प्रयास किये जायें, जिससे अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत अनुसूचित जाति एवं जनजति वर्ग के सदस्यों को पूरा संरक्षण मिले, साथ ही अधिनियम का दुरूपयोग भी न हो ।
उप आयुक्त आदिम जाति कल्याण विभाग श्री त्रिपाठी ने बैठक में जानकारी दी कि अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत मौजूदा वित्तीय वर्ष में संभाग के सभी जिलों में अनूसूचित जाति एवं जनजाति वर्ग के अत्याचार से पीड़ित कुल 264 व्यक्तियों को 53 लाख 37 हजार रूपये की राहत मुहैया कराई है ।
इस बैठक से पहले संभागायुक्त श्री एस बी सिंह ने पिछड़ा वर्ग सलाहकार मंडल की संभाग स्तरीय बैठक में पिछड़ा वर्ग छात्रवृत्ति व पिछड़ा वर्ग के हित में संचालित योजनाओं की समीक्षा भी की । उन्होंने विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिये कि वे संभागस्तरीय विभागीय कार्यालय से समन्वय स्थापित कर पिछड़ा वर्ग छात्रवृत्ति का आवंटन प्राप्त करें और समय से वितरण भी करायें ।
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