मंगलवार, 2 जून 2009

एक लाख सात हजार में बनेंगे ग्रामीण मिनी कोल्ड स्टोरेज

एक लाख सात हजार में बनेंगे ग्रामीण मिनी कोल्ड स्टोरेज

ग्वालियर, एक जून 09/ राज्य भण्डारगृह निगम ने प्रदेश के खाद्य आपूर्ति राज्य मन्त्री श्री पारस चन्द्र जैन की पहल पर कोल्ड स्टोरेज की तर्ज पर ग्रामीण क्षेत्रों में मिनी कोल्ड स्टोरेज(इवोपेरेटड कूल्ड स्ट्रक्चर) बनाने हेतु लुधियाना की सीफेट कम्पनी से करार द्वारा इसकी ड्राइंग-डिजाइन और तकनीक हासिल कर ली है। अब इस तकनीक का लाभ लेकर प्रदेश के गांव गांव में एक लाख 7 हजार रूपये में ऐसे मिनी कोल्ड स्टोरेज बनाये जा सकेंगे ।

 दरअसल सभी किसानों के लिए अपने सीमित आर्थिक संसाधनों एवं अन्य कारणों से कोल्ड स्टोरेज में फल और सब्जियों का संरक्षण संभव नहीं होता। इस तथ्य को ध्यान में रखकर  राज्य सरकार ने ग्रामीण अंचल में इवोपोरेटेड कोल्ड रूम बनाने का फैसला किया है तथा इनके निर्माण का काम खाद्य विभाग के तहत राज्य भण्डारगृह निगम को सौंपा गया है। इनकी लागत सिर्फ 1 लाख 7 हजार रूपए आएगी और यहाँ एक रूम में एक वक्त में 6 टन तक फल और सब्जियों का संरक्षण किया जा सकेगा। लुधियाना की सीफेट कंपनी ने मूलत: इवोपोरेटेड कूल्ड स्ट्रक्चर (मिनी कोल्ड स्टोरेज) की तकनीक इज़ाद की है। राज्य भण्डारगृह निगम ने इस तकनीक की ड्राइंग-डिजाइन को एक करारनामे के जरिए हासिल कर लिया है। अब प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों में फल और सब्ज़ी के पैक हाउस के बतौर इस पध्दति पर काम शुरू किया जा रहा है।

नई तकनीक जहाँ बिजली की कम खपत वाली है वहींइसकी स्थापना लागत भी कम आएगी। इवोपोरेटेड कूल्ड रूम में लगाए जाने वाले संयत्र के जरिए इनके भीतरी तापमान को बाहरी तापमान की तुलना में 20 डिग्री सेल्सियस कम रखा जाएगा। फरवरी और मार्च महीनों के दौरान यहाँ 35 दिनों तक फल और सब्जियों की हिफाज़त की जा सकेगी। जहाँ तक आलू का सवाल है तो इसे ईसीआर में मई और जून की भीषण गर्मी के बावजूद 55 दिन तक सुरक्षित रखा जा सकेगा।

 

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