ग्वालियर व्यापार मेला: सुरक्षा के होंगे पुख्ता प्रबन्ध, बेहतर होंगी अन्य व्यवस्थाएँ
ग्वालियर 17 दिसम्बर 08। वर्तमान परिस्थितियों को ध्यान में रखकर सुरक्षा के पुख्ता प्रबंध हों, मेला अपनी ख्याति के अनुरूप सुव्यवस्थित ढ़ंग से लगे और सैलानियों को कोई कठिनाई न हो। ग्वालियर के सुप्रसिध्द व्यापार मेले की व्यवस्थाओं को बेहतर ढंग से अंजाम देने के सिलसिले में बुलाई गई बैठक में संभाग आयुक्त डॉ. कोमल सिंह एवं पुलिस महानिरीक्षक श्री देवेन्द्र सेंगर ने यह बात व्यवस्थाओं की बिन्दुवार समीक्षा करते हुये कही। यहां मेला प्राधिकरण के सभाकक्ष में आयोजित हुई बैठक में पुलिस उपानिरीक्षक श्री आदर्श कटियार, जिला कलेक्टर श्री आकाश त्रिपाठी, पुलिस अधीक्षक श्री व्ही. के. सूर्यवंशी, नगर निगम आयुक्त डॉ.पवन शर्मा व अन्य संबंधित अधिकारी तथा मेला प्राधिकरण के अध्यक्ष श्री अनुराग बंसल, उपाध्यक्ष श्री वेदप्रकाश शिवहरे, मेला प्राधिकरण के संचालकगण सर्वश्री पारस जैन्, हासानंद आहूजा व कप्तान सिंह भी मौजूद थे।
ग्वालियर व्यापार मेला में इस बार सुरक्षा व्यवस्था को ध्यान में रखकर हर गतिविधि पर नजर रखने के लिए गुप्त कैमरे लगाये जायेंगे और इन्हें मेले के पुलिस कण्ट्रोल रूम मे क्लोज सर्किट टी व्ही. (सी सी टी व्ही.) से जोड़ा जायेगा। बैठक मे कहा गया कि मेले के उत्तर व दक्षिण दोनों भागों में दो-दो छोटी व बड़ी फायर ब्रिगेड हर दम तैयार हालत में रखी जावेंगी। साथ ही मेला परिसर के हाईडेण्ट पर आपरेटर्स हर समय तैनात रहेंगे। इसी क्रम में बैठक में यह भी निर्देश दिये गये कि मेले में शॉर्ट सर्किट से आग लगने जैसी घटना न हो इसके लिए पुख्ता प्रबंध किये जावें। हर दुकान के लिए विद्युत सुरक्षा अधिकारी से अनापत्ति प्रमाण पत्र प्राप्त करने के पश्चात ही स्टॉल प्रारंभ करने की अनुमति दी जाये। मेला प्राधिकरण के अधिकारियों को इस बात के लिये विशेष तौर पर निर्देश दिये गये कि सांस्कृतिक रंग मंच के समीप से गुजरने वाली हाई टेंशन लाइन को तत्काल व्यवस्थित किया जाय। इस संबंध में संभाग आयुक्त व पुलिस महानिरीक्षीक ने साफ तौर पर कहा कि जान माल की सुरक्षा सबसे जरूरी है अत: जब तक हाईटेंशन लाइन व्यवस्थित न हो जाये तब तक उक्त मंच पर सांस्कृतिक आयोजन की कदापि अनुमति न दी जाये।
बैठक में मेले में आवागमन की दृष्टि से आस पास के क्षेत्र की यातायात व्यवस्था एवं पार्किंग बन्दोबस्त को गत वर्ष की तुलना मे बेहतर बनाने पर भी विस्तृत विचार विमर्श किया गया। मेले के भीतरी मार्गों में लघु व्यवसायियों एवं रेड़ी वालों की अनियन्त्रित मौजूदगी का हल निकालते हुए उन्हें क्षेत्र विशेष मे सीमित करने तथा तख्तों पर दुकानें लगाने जैसा विकल्प देने पर सहमति व्यक्त की गई। मेला प्राधिकरण इस दिशा में आगे की कार्यवाही करेगा ताकि अधिक से अधिक लघु व्यवसायी भी मेले से लाभान्वित हो सकें।
मेले के सांस्कृतिक आयोजन गरिमापूर्ण हों। उनमें अश्लीलता और भौंडापरन न हो इसका पूरा ख्याल रखा जावे। साथ ही मेले मे हथियार लेकर चलने पर भी मनाही रहेगी। जिला प्रशासन समय पूर्व इस आश्रय की निषेध आज्ञा भी जारी कर देगा।
मेले में साफ सफाई, पेयजल व्यवस्था , उत्तम प्रकाश व्यवस्था का भी जिम्मेदार विभागों के अधिकारी एवं मेला प्राधिकरण समन्वयपूर्वक निष्पादन करेगा।
मेले में व्यवसायिक स्टालों के अलावा मनोरंजन वाले स्टाल भी सुरक्षा सम्बन्घी सभी हिदायतों का पालन करें। पुलिस के साथ निजी क्षेत्र के सुरक्षागार्ड भी मेले की व्यवस्था सुचारू बनाने हेतु तैनात किये जायेंगे। पार्किंग की व्यवस्था पूरी तरह से मेला प्राधिकरण की देख रेख मे होगी।
विभागीय प्रदर्शनियों को भी इस बार पूर्व से अधिक व्यवस्थित ढ़ंग से लगाया जावेगा। मेला प्राधिकरण ने इस दिशा में संबंधित विभागों को पत्र भेज दिये हैं। संभागायुक्त डॉ. कोमल सिंह ने सभी विभागाधिकारियों से अपनी प्रदर्शनी को अधिक से अधिक आकर्षक और जनोपयोगी बनाने की अपील की है।
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